Employee Regularization: लंबे समय से नियमितीकरण का इंतजार कर रहे कर्मचारियों के लिए बड़ी खबर है। नए साल में उनके नियमितीकरण का रास्ता साफ हो सकता है। राज्य सरकार ने इसे लेकर तैयारी शुरू कर दी है।
शिक्षा विभाग में अनियमित और अस्थायी रूप से नियुक्त किए गए शिक्षकों के लिए एक बहुत बड़ी खबर सामने आ रही है। जल्द ही इन शिक्षकों का नियमितीकरण कर दिया जाएगा। मतलब इन शिक्षकों को शिक्षा विभाग में परमानेंट जॉब दे दी जाएगी।
इसके लिए शिक्षा विभाग द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी, सहायक संचालक और हाई स्कूल प्राचार्य की एक कमेटी तैयार की गई है। यह कमेटी अनियमित और अस्थायी रूप से नियुक्त शिक्षकों के अब तक के किए गए सभी कामों का मूल्यांकन करेगी। जिसके आधार पर करीबन 15000 शिक्षकों को परमानेंट रूप से नियुक्त किया जाएगा।
परमानेंट नियुक्ति के लिए इन नियमों का पालन
शिक्षकों की विभागों में परमानेंट नियुक्ति को देखते हुए कमेटी का गठन किया जा रहा है। इस कमेटी का मुख्य काम शिक्षकों के अब तक के किए गए काम की समीक्षा करना होगा।
इस पूरी प्रक्रिया के दौरान यह देखा जाएगा कि शिक्षक ने अपने ट्रायल पीरियड के दौरान किस तरह काम किया है। वही यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि शिक्षक के खिलाफ किसी प्रकार की कोई शिकायत या अदालती मामला सामने ना आया हो।
यदि शिक्षक का ट्रांसफर दूसरे जिले में किया गया है तो उस जिले में शिक्षक ने कितनी छुट्टियां ली है इसका भी लेखा-जोखा सहेजा जाएगा। इसके साथ ही शिक्षकों द्वारा ली गई छुट्टियों का कारण भी जांचा जाएगा।
इन शिक्षकों को मिलेगा Permanent Job
हाल ही में मध्यप्रदेश की मोहन यादव सरकार ने अनियमित कर्मचारियों को लेकर एक महत्वपूर्ण कमेटी गठित करने की बात की है। इस कमेटी के अंतर्गत जिला शिक्षा अधिकारी, सहायक संचालक और हाई स्कूल प्राचार्य को शामिल किया जाएगा।
यह कमेटी अनियमित और अस्थायी रूप से नियुक्त किए गए शिक्षकों के ट्रायल पीरियड में किए गए सभी कार्यों का मूल्यांकन करेगी और संतोष जनक रिजल्ट देने वाले शिक्षकों की नियुक्ति परमानेंट पदों पर की जाएगी।
शिक्षा विभाग में अस्थाई रूप से कार्यरत शिक्षकों को इस फैसले से सीधा लाभ देखने को मिलेगा। इस पूरी प्रक्रिया के अंतर्गत यह ध्यान दिया जाएगा कि शिक्षक द्वारा अब तक का किया गया कार्य संतोषजनक हो और शिक्षक का चरित्र भी बेदाग हो।
इस मापदंड के आधार पर शिक्षकों को विभाग में परमानेंट नियुक्ति मतलब नियमित रूप से पदस्थापना दी जाएगी।
कितने समय में होगा नियमितीकरण
नियमितीकरण को लेकर मध्य प्रदेश सरकार ने कुछ महत्वपूर्ण कदम उठाये हैं। इन नियमों के अंतर्गत यह ध्यान दिया जाएगा कि हर शिक्षक अपने जॉइनिंग के 3 साल नियमितकरण के नियमों का पालन करे।
इन नियमों की समीक्षा होने के पश्चात हर 3 साल में ट्रायल पीरियड समाप्त कर शिक्षक को विभागों में परमानेंट रूप से नियुक्त कर दिया जाएगा।
नियमितीकरण से मिलेंगे ये फायदे
- शिक्षकों के नियमितीकरण अर्थात परमानेंट नियुक्ति के पश्चात शिक्षकों को अस्थायी कर्मचारियों से स्थायी कर्मचारी बना दिया जाएगा।
- स्थायी कर्मचारी बनते ही शिक्षकों को सभी सुविधाएं, भत्ते, प्रमोशन, पेंशन जैसी सुविधाएं भी दी जाएगी ।
- शिक्षकों की शिक्षा गुणवत्ता में भी सुधार देखा जाएगा वहीं शिक्षकों के मनोबल में भी वृद्धि देखी जाएगी।
कुल मिलाकर मध्य प्रदेश में संविदा कर्मियों और अस्थायी रूप से नियुक्त किए गए शिक्षकों के नियमितीकरण की प्रक्रिया को अब जल्द ही अंतिम रूप दिया जाएगा और 15000 से ज्यादा अनियमित शिक्षकों को परमानेंट नियुक्ति प्रदान की जाएगी।