Employees Promotion: हाई कोर्ट ने कर्मचारियों को राहत दी है। इसके साथ ही अब उनके प्रमोशन का रास्ता साफ हो गया था। दो से ज्यादा संतान वाले कर्मचारियों को भी प्रमोशन का लाभ मिल सकेगा।
पदोन्नति करने के मामले में रोक लगाने के आदेश को संशोधित कर दिया गया है। इसके साथ ही अदालत ने प्रमोशन पर लगे रोक को हटाने लिया है। रोक को हटाते हुए होने वाली पदोन्नति को याचिका के अंतिम निर्णय के अधीन रखा गया है।
हाई कोर्ट ने कार्मिक विभाग के 16 मार्च की अधिसूचना के आधार पर दो से अधिक बच्चों वाले कर्मचारियों को संबंधित आदेश के मामले में रोक लगाने के आदेश को संशोधित किया है।
प्रमोशन करने का प्रावधान
चीफ जस्टिस एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस उमाशंकर व्यास की खंडपीठ ने आदेश संतान और अन्य की याचिका पर राज्य सरकार की ओर से दायर स्टे प्रार्थना पत्र पर सुनवाई करते हुए दिया है।
अदालत में बताया गया कि कार्मिक विभाग में 16 मार्च 2023 को अधिसूचना जारी की थी। जिसमें दो से अधिक संतान वाले कर्मचारियों को संबंधित साल में प्रमोशन करने का प्रावधान किया गया था।
इसके खिलाफ दायर याचिका पर हाई कोर्ट ने अगस्त महीने में अंतिम आदेश कर पर प्रमोशन पर रोक लगा दी थी जबकि एंट्री आदेश के जरिए पूरी पदोन्नति प्रक्रिया को रोक नहीं जा सकता है।
इसके साथ ही याचिकाकर्ताओं को पूर्व में दिए गए प्रमोशन इस अधिसूचना से प्रभावित नहीं हो रही थी।
दिए आदेश को वापस लिया जाना चाहिए
इसलिए पूर्व में दिए आदेश को वापस लिया जाना चाहिए। इस पर सुनवाई करते हुए खंडपीठ ने पूर्व में दिए गए आदेश को संशोधित करते हुए प्रमोशन पर लगी रोक को हटा दिया है और याचिका को निर्णय के अधीन रखा है।
ऐसे में अब दो से अधिक बच्चे वाले कर्मचारियों के प्रमोशन का रास्ता साफ हो गया है। याचिका में कहा गया कि राज्य सरकार ने 1 जून 2002 इसके बाद दो से अधिक संतान वाली सरकारी कर्मचारियों को तीन और पांच अवसर तक प्रमोशन से वंचित रखा गया था।
कार्मिक विभाग में 16 मार्च 2023 को अधिसूचना जारी किया था। इसमें कहा गया था कि कोई भी कर्मचारी को केवल ज्यादा संतान होने के कारण प्रमोशन से वंचित नहीं किया जा सकता है।
कर्मचारियों को भी प्रमोशन का लाभ
ऐसे में जिन कर्मचारियों को प्रमोशन से वंचित किया गया है। उन्हें प्रमोशन इस वर्ष से दिया जाना चाहिए। इसे चुनौती देते हुए कहा गया था कि पिछले तारीख से किसी भी कर्मचारी की योग्यता के संबंध में अधिसूचना जारी नहीं की जा सकती है।
इस अधिसूचना के जरिए वैसे कर्मचारी प्रमोट होंगे, जिन्हें पहले अयोग्य करार दिया जा चुका है। इस कारण प्रमोशन भी प्रभावित हुई थी और वरिष्ठता में वह नीचे चले गए थे। जिसके बाद 16 मार्च 2023 की अधिसूचना के आधार पर दो से अधिक संतान वाले कर्मचारियों को प्रमोशन नहीं देने की बात कही गई थी।
अब हाई कोर्ट ने इस मामले में अपने आदेश को संशोधित कर दिया गया है। जिसके बाद कर्मचारियों को भी प्रमोशन का लाभ दिया जा सकेगा।